१) जहाँ पूजा ( बायीं तरफ) पहली बार अपने प्रीतम से मिली ...'उनका ' सरकारी घर २) पूजाकी दादी ३)उसके पिताजी के साथ..४) जब 'वो सुबह तारा पहली बार घर लाया गया तब परम में ली गयी एक तसवीर...आ लौट चले बचपनमे...!५)उस बाल सखी के साथ, जिसने माँ मासूमा के साथ ज़बरदस्त घात किया...६) अपने दादा जी के साइड कार पे...७) साडी में ...यौवन की दहलीज़..!८)किसकी दुल्हन बनी?
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8 टिप्पणियां:
bachpan aur yauwan ka bahut achcha mishran dekhne ko mila........ bachpana to hamara hamesha hamare saath hi rehta hai.........
www.lekhnee.blogspot.com
बहुत सुन्दर चित्र हैं।
जन्म-दिवस पर
महात्मा गांधी जी और
पं.लालबहादुर शास्त्री जी को नमन।
यादगार तस्वीरें..........
jise bhoola na jaaye .
एक से बढ़कर एक तस्वीरें हैं !आपने बहुत ही सुंदर रूप से बचपन की तस्वीरों को और साथ में यौवन की चित्रों को प्रस्तुत किया है!
tasveeren kahaani bolti hain .......
Beautiful!
तस्वीरों ने कहानी की पिछली किश्तों को पुनः जीवंत कर दिया। दादा जी की सवारी ने मन मोह लिया...किंतु ये आखिरी का सवाल झकझोड़ गया है।
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